Zinda Hoon歌词由Ishwar Kumar&Saurav Singh演唱,出自专辑《Zinda Hoon》,下面是《Zinda Hoon》完整版歌词!
Zinda Hoon歌词完整版
फस चुकी थी ज़िन्दगी
एक ही जंजीर में
कुछ भी ना था मेरे
इन हाथ की लकीर में
रास्तों पर घूमता
बन के फकीर मै
सोचता था शायद यही मेरी तकदीर में
खेल रोज नए नए
ऊपर वाला खेलता
छोटी खुशियां देकर
बड़ी दीक्कतों से पेलता
दिल ही मेरा जानता है
कैसे मै था झेलता,
भूल चुका था बात ये
मै भी कभी शेर था
देवता के जैसे पूजा
अपने मा बाप को
फिर भी ना उनके
हालात को बदल सका
कोशिशें मै करता रहा
बार बार पर मगर
वो चाहते थे जैसा बनूं
ना वैसा कभी बन सका
जिंदा हूं अभी अभी जिंदा हूं मैं -3
क्यो रोका था खुद को
शर्मिंदा हूं मै
बवाल मेरा खुद से ही
हाल चाल खुद से ही
क्या सही है क्या ग़लत
सवाल मेरा खुद से ही
करते रहे लोग judge
Ego मुझमें है गलत,
जानता था खुद को मै
जो कर रहा हूं सब सही
बुरे हालात थे
गिर कर खड़ा हुआ
जितना है मुझको इस
जिद्द पे अड़ा हुआ
दिक्कतों से लड़ झगड़
इतना मै बड़ा हुआ
निकलेगा खजाना जो
जमीन में गड़ा हुआ
ग्रैंड भी बनेगा
ट्रेंड भी बनेगा
छोटा सा नाम मेरा
ब्रैंड भी बनेगा
आज जलने वाला सख्स
कल फ्रैंड भी बनेगा
ShivEye नाम मेरा
Top pe रहेगा
क्योंकी
जिंदा हूं अभी अभी जिंदा हूं मैं -3
क्यो रोका था खुद को
शर्मिंदा हूं मै